मुंबई (कमोडिटिजकण्ट्रोल) - अधिकारीयों के अनुसार रविवार को मध्य प्रदेश और महाराष्ट्र में ओला-वृष्टि से गेहू के साथ-साथ अन्य खड़ी फसलों को नुकसान होने की आशंका है।
अधिकारी और व्यापारियों के अनुसार महाराष्ट्र में ओला-वृष्टि के कारण बाग़बानी (फलों) के साथ-साथ कुछ रबी फसल प्रभावित हुई है। मध्य प्रदेश में ओला-वृष्टि और बिजली गिरने के कारण गेहूं, तुअर और चना जैसी फसलों को नुकसान हुआ है। दोनों प्रदेशों की सरकार ने फसलों को हुए नुकसान का आंकलन कर रिपोर्ट पेश करने के लिए सम्बंधित विभागों को निर्देश जारी कर दिया है।
एक रिटायर्ड कृषि अधिकारी जोकि प्रभावित क्षेत्रों का दौरा किया ने बताया की महाराष्ट्र में रविववार को सुबह 7.30 बजे ओला-वृष्टि शुरू हुई और यह 20-30 मिनट तक जालना, बीड, वाशिम, परभणी, अकोला, हिंगोली में जारी रहा।
उन्होंने कहा की इन इलाकों में चना, गेहूं और ज्वार को सबसे अधिक नुकसान पहुंचा है।
जालना के एक कृषि अधिकारी ने कहा की जालना में कुल 170-175 गावों में से 100 गांव ओला-वृष्टि से प्रभावित हुए है और क्षेत्र में कुल 1.5 लाख हेक्टेयर में से 20-25% क्षेत्र में नुकसान दिख रहा है।
रबी के लिए कुल 3.40 लाख हेक्टेयर बोआई क्षेत्र में से 0.13 लाख हेक्टेयर क्षेत्र बीड जिले में प्रभावित हुआ है, जिसमे चना, गेहू और अनार शामिल है।
मोरेना स्थित एक कृषि वैज्ञानिक के अनुसार ओला-वृष्टि के कारण विदिशा और सीहोर जिले में फसले प्रभावित हुई है... विदिशा जिले के कुछ गावों में फसल पूरी तरह बर्बाद हो गई है।
सीहोर के एक किसान ने बताया की गेहूं को नुकसान काफी हुआ है, पर नुकसान का सही-सही आंकलन करने में कुछ समय लगेगा।
मौसम विभाग के अनुसार अगले 24 घंटे में महाराष्ट्र में ओला-वृष्टि हो सकती है। इसके आलावा मध्य भारत में भी बारिस के साथ साथ ओला-वृष्टि हो सकती है।
(कमोडिटिजकण्ट्रोल ब्यूरो द्वारा;+91-22-40015533)